मोदी मीटिंग में पहुंचे; पूर्व CM समेत 3 बड़े नेताओं ने कहा- चुनाव नहीं लड़ेंगे | Modi reached the meeting; 3 big leaders including former CM refuse to contest elections

अहमदाबाद\ नई दिल्ली16 मिनट पहले

गुजरात विधानसभा चुनाव में टिकटों के बंटवारे को लेकर दिल्ली में भाजपा सेंट्रल इलेक्शन कमेटी (CEC) की मीटिंग शुरू हो चुकी है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी भी बैठक में पहुंचे हैं। मीटिंग से पहले ही पूर्व मुख्यमंत्री विजय रूपाणी, पूर्व डिप्टी CM नितिन पटेल और सीनियर विधायक भूपेंद्र सिंह चुडास्मा ने चुनाव लड़ने से मना कर दिया है।

देर रात हो सकता है टिकटों का ऐलान
इधर, देर शाम दिल्ली में भाजपा सेंट्रल इलेक्शन कमेटी की मीटिंग शुरू हो गई है। मीटिंग में प्रधानमंत्री मोदी के अलावा गृह मंत्री अमित शाह, पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्‌डा, महाराष्ट्र के डिप्टी CM देवेंद्र फडणवीस समेत कमेटी के सभी सदस्य पार्टी हेडक्वार्टर पहुंच चुके हैं। देर रात तक टिकटों का ऐलान हो सकता है।

भाजपा हेडक्वार्टर पहुंचने पर पीएम मोदी का पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्‌डा ने स्वागत किया।

भाजपा हेडक्वार्टर पहुंचने पर पीएम मोदी का पार्टी अध्यक्ष जेपी नड्‌डा ने स्वागत किया।

रूपाणी और पटेल ने कहा- युवाओं को मिले मौका
रूपाणी और नितिन पटेल ने कहा कि वे चुनाव नहीं लड़ रहे, ताकि युवाओं को मौका मिले। हालांकि चर्चा है कि पार्टी ने इन दोनों नेताओं को बड़ी जिम्मेदारी देकर विधानसभा चुनाव से दूर किया है। विजय रूपाणी को पंजाब की जिम्मेदारी दी गई थी। नितिन पटेल को भी दूसरे राज्य में बड़ी जिम्मेदारी देकर गुजरात चुनाव से दूर रखा जाएगा।

रूपाणी ने सीनियर नेताओं को भेजा लेटर
गुजरात के पूर्व CM विजय रूपाणी ने पार्टी के सीनियर लीडर्स को लेटर भेजकर कहा- सभी के सहयोग से पांच साल CM के रूप में काम किया। इन चुनावों में नए कार्यकर्ताओं को जिम्मेदारी दी जाए। मैं चुनाव नहीं लड़ूंगा। पार्टी द्वारा चुने गए उम्मीदवार को जिताने के लिए काम करूंगा।

दो बार सीएम रहे विजय रूपाणी
विजय रूपाणी 7 अगस्त 2016 को पहली बार गुजरात के मुख्यमंत्री बने थे। 2017 का चुनाव उन्हीं के नेतृत्व में लड़ा गया था। तब भाजपा ने 99 सीटें जीती थीं। रूपाणी ने 26 दिसंबर 2017 को दूसरी बार गुजरात के मुख्यमंत्री पद की शपथ ली थी।

नितिन पटेल के हाथ से 4 बार निकला CM बनने का मौका
पूर्व डिप्टी CM नितिन पटेल वित्त, स्वास्थ्य, कृषि, राजस्व, सिंचाई और शहरी विकास मंत्रालयों की जिम्मेदारी संभाल चुके हैं। उनके हाथ से चार बार गुजरात का मुख्यमंत्री बनने का मौका निकला है। पहली बार 2014 में जब नरेंद्र मोदी प्रधानमंत्री बने। उस समय गुजरात CM के लिए उनका नाम चल रहा था, लेकिन पार्टी ने आनंदीबेन पटेल को मुख्यमंत्री बनाया।

इसके बाद 2015-16 के पाटीदार आंदोलन के बाद जब आनंदीबेन पटेल को CM पद से हटाया गया, तब भी उनका नाम उछला, लेकिन विजय रूपाणी को मुख्यमंत्री बनाया गया। 2017 का चुनाव परिणाम उम्मीद के अनुरूप नहीं आने के बाद ऐसा लग रहा था कि अब नितिन पटेल का CM बनना तय है, लेकिन रूपाणी दोबारा CM बने। इसके बाद 2021 में बीजेपी ने विजय रूपाणी को हटाकर भूपेंद्र पटेल को मुख्यमंत्री बना दिया। तब भी उनका नाम चर्चाओं में था।

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